Returned to Earth from space

0 0
Read Time:4 Minute, 33 Second

Shubhanshu Shukla:ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला अंतरिक्ष से वापस आ गए और वापस लौटते के बाद परिवार से मिलकर भावुक नज़र आएं. 18 दिनों तक अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर रहने के बाद शुभांशु शुक्ला के ड्रैगन अंतरिक्ष यान से वह धरती पर लौट आएं और प्रशांत महासागर में उन्होंने सफलतापूर्वक लैंडिंग की. इसके बाद ह्यूस्टन आएं और वहां उनका मेडिकल जांच हुआ फिर वह अपने परिवार से मिलने गए. इस दौरान शुभांशु ने अपनी मां कमना ने उन्हें गले लगाया और आंसुओं से भरी आंखों से स्वागत किया. वहीं शुभांशु की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर तेज़ी से वायरल हो रही है जिसमें उन्होंने अपने चार साल के बेटे को गले लगाया है.

अंतरिक्ष से वापस आएं शुभांशु शुक्ला

शुभांशु शुक्ला का परिवार से मिलना बहुत इमोशनल था और लगभग दो महीने तक अलग-अलग रहने के बाद शुभांशु शुक्ला अपने परिवार से मिले. लांन्च से पहले उनकी क्वारंटाइन 15 दिन से शुरू हुई थी और यह बार-बार बढ़ती जा रही थी और इसी दौरान वह पूरी तरह अलग-अलग रहने लगे थे. अब उनकी यह मुलाकात देश के लिए भी बहुत खुशी की बात है. भारत की अंतरिक्ष यात्रा के इतिहास में शुभांशु शुक्ला ने इतिहास रच डाला था और वह आईएसएस पर जाने वाले पहले भारतीय और राकेश शर्मा के बाद अंतरिक्ष जाने वाले दूसरे भारतीय बने हैं. अंतरिक्ष में रहते हुए उन्होंने बायोलॉजी, मटेरियल साइंस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसे बहुत से वैज्ञानिक प्रयोगों में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया.स्पेशली उन्होंने स्प्राउट्स प्रोजेक्ट में उन्होंने माइक्रोग्रेविटी में पौधों की वृध्दि का अध्ययन किया था और यह प्रयोग अंतरिक्ष में टिकाऊ खेती के लिए एक नया रास्ता दिखा सकता है.

Shubhanshu Shukla(Photo credit-google)

शुभांशु शुक्ला ने लिखी ये बात

शुभांशु शुक्ला का यह अंतरिक्ष का सफर न‌ केवल उनके लिए बल्कि पूरे देश के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है. उनके इस सफर ने भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम को नई ऊंचाई पर पहुंचाने का काम किया है और लोगों को उनकी आगे की यात्रा और प्रयोगों का बेसब्री से इंतजार है. शुक्ला का यह मिशन भारत के पहले मानव अंतरिक्ष उड़ान मिशन गगनयान के लिए भी एक महत्वपूर्ण कदम है जो‌ साल 2027 में होना है. लखनऊ में जन्मे शुक्ला ने अपने मिशन के दौरान बहुत से अनोखे प्रयोग किए हैं जो मानव जीवन और माइक्रोग्रेविटी में जीव-जंतुओं के अस्तित्व के लिए अति आवश्यक है.

Shubhanshu Shukla(Photo credit-google)

शुभांशु शुक्ला ने लिखा -” मुझे क्वारंटाइन में गए हुए 2 महिने हो गए हैं. क्वारंटाइन के दौरान परिवार से मिलने के लिए हमें 8 मीटर की दूरी पर रहना पड़ता था. मैनें नन्हे मुन्ने को बताया गया कि उनके हाथों में कीटाणु है वह अपने पिता को छू नहीं सकता. जब भी मिलने आता अपनी मां से पूछता -” क्या मैं अपने हाथ धो सकता हूं?” यह बहुत मुश्किल था. आगे उन्होंने लिखा -” हम अक्सर जिंदगी में व्यस्त हो जाते हैं और भूल जाते हैं और हमारे जीवन में लोग कितने महत्वपूर्ण है.”

ये भी पढ़ें:Shubhanshu Shulka का स्पेस मिशन! 41 साल‌ बाद रचा इतिहास

Source link

Axiom 4 mission,Shubhanshu Shukla,Shubhanshu Shukla return to earth,Shubhanshu shukla space mission,Space mission

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Bollywood Movies Featured These 7 Beautiful Religious Shrines Of India From Coorg To Gokarna: 8 Small Towns Where You Can Retire In Peace ⁠Bucket List Landscapes for Every Travel Photographer Ganesh Chaturthi 2025 Travel Guide: 9 Iconic Temples To Seek Lord Ganesha’s Blessings 10 astonishing images of Mars captured by NASA
Bollywood Movies Featured These 7 Beautiful Religious Shrines Of India From Coorg To Gokarna: 8 Small Towns Where You Can Retire In Peace ⁠Bucket List Landscapes for Every Travel Photographer Ganesh Chaturthi 2025 Travel Guide: 9 Iconic Temples To Seek Lord Ganesha’s Blessings 10 astonishing images of Mars captured by NASA